इस्लाम और चीन
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इस्लाम के नाम पर जहाँ पाकिस्तान और उसके
आतंकी संग़ठन भारत में आतंकी गतिविधियाँ
चलाते हैं वहीँ दूसरी ओर खुद पाकिस्तान के
आकाओं ने भारत को नेस्तनाबूदँ करने के लिए
इस्लाम विरोधी चीन से हाथ मिला लिया है।
पाकिस्तान के कटटरपंथी संगठन इस्लाम का
हवाला देकर आतंक फैलाते हैं लेकिन चीन पर
चुप रहते हैं। चीन में मुसलमानों की आबादी
बढ़ती जा रही है। कुछ जगह ज्यादा ही बढ़ गई
है। ऐसे में चीनी सरकार भी इनपर दबाब बनाकर
रखती है। चीन में मुसलमानों पर अनेक पाबंदियाँ
लगाई गई हैं। वहाँ मुसलमानों को ढाढ़ी रखने पर
पाबंदी है। ओरतो को बुरका पहनने पर पाबंदी है।
मस्जिदों में लाउडस्पीकरों से अज़ान पर पाबंदी है।
सड़कों पर नमाज़ पढ़ने पर पाबंदी है।
कटटरपंथी आतंकी संग़ठन चीन पर चुप रहते हैं।
जबकि भारत समेत अनेक देशों में उन्होंने आतंक
फैला रखा है।
यही नहीं पाकिस्तान की सरकार भी यह सब जानते
हुए भी अनजान बनी हुई है। क्योकि पुरे विश्व में अलग
थलग पड़ने के बाद पाकिस्तान को चीन का ही सहारा
मिलता दिखाई दे रहा है। भारत का विरोध करने में
उसे चीन ही अपने साथी के रूप में दिखाई दे रहा है।
पाकिस्तान इस बात को भी नज़र अंदाज़ कर रहा है
की उसकी चीन से दोस्ती पाकिस्तान और इस्लामियत
दोनों पर भारी पड़ेगी। पाकिस्तान का बुद्धिजीवी वर्ग
भी इस दोस्ती के विरुध्द है लेकिन पाकिस्तान के प्रधान
मंत्री नवाज़ जो खुद अनेक भ्र्ष्टाचार के मुकदमों में फ़से
हैं उन्हें
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